डेस्क। दो दिन से खालिस्तानी नेता और ‘वारिस पंजाब दे’ के प्रमुख अमृतपाल सिंह की गिरफ्तारी को लेकर पंजाब में घमासान जारी है। उसके खिलाफ बड़े पैमाने पर ऑपरेशन भी चलाया जा रहा है। गिरफ्तारी को लेकर कई खबरें भी वायरल हो रही हैं, लेकिन पुलिस ने इस सभी खबरों को खारिज किया है। जालंधर के पुलिस कमिश्नर कुलदीप सिंह चहल ने कहा कि 20-25 किमी तक पुलिस ने उसका पीछा किया, लेकिन वह भागने में कामयाब हुआ।
पुलिस ने उसको भगोड़ा घोषित कर दिया है। इस बीच अमृतपाल सिंह की मां का एक पुराना बयान भी सामने आया है। एक पुराने इंटरव्यू में उन्होंने बताया था कि अमृतपाल ने अपने गांव में एक अभियान चलाया है, जिसके तहत वह लोगों की नशे की लत छुड़ाने के लिए निशुल्क इलाज भी करता है।
अपने गांव में नशा मुक्ति अभियान चला रहा है अमृतपाल सिंह
अमृतपाल सिंह, अमृतसर के जल्लूपुर खेड़ा गांव का रहने वाला है और वह साल 2012 में काम के सिलसिले में दुबई गया था और वहां से एक साल पहले ही भारत वापसी की थी। उसकी मां के मुताबिक, जब अमृतपाल सिंह ने उन्हें बताया था कि वह भारत वापस आना चाहता है तो उसके माता-पिता हैरान ही रह गए थे। वे चाहते थे कि अमृतपाल एक सक्सेसफुल बिजनेसमैन बने लेकिन, पिछले 6-7 सालों से वह ज्यादातर टाइम फोन पर ही चिपका हुआ रहता था। अब वह खालिस्तानी समर्थक दीप सिद्धू के संगठन ‘वारिस पंजाब दे’ का प्रमुख बन चुका है।
वह अमृतसर में अमृत संचार अभियान चलाता है। उसका कहना है कि यहां नशे की लत छुड़ाने के लिए मुफ्त इलाज भी किया जाता है। उसका कहना है कि नशेड़ी लोगों का इलाज आयुर्वेदिक दवाओं, योग, आहार, सेवा (सेवा) और शबद-कीर्तन (गुरबानी पाठ) के मिश्रण से किया जाता है और यह बिल्कुल फ्री यानी निशुल्क सेवा है।
बेटे की सेवा पर गर्व करती हैं मां
अमृतपाल की मां बलविंदर कौर का यह कहना है कि उन्हें अपने बेटे और उसकी सेवा पर गर्व है। उन्होंने कहा, “हमें खुशी है कि वह अमृत संस्कार (बपतिस्मा) पर चल रहा है और लोगों की नशे की लत छुड़ा रहा है।”
वो बोलती हैं कि इसमें वह भी अपने बेटे के साथ हैं और वह अपने बेटे के साथ रहने वाले 15-16 युवाओं के लिए खाना भी बनाती हैं। वह कहती हैं कि उनके बेटे को परिवार का पूरा समर्थन मिला है।