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Chanakya niti: ऐसे लोगों का साथ बनेगा आपकी बर्बादी का कारण

 

डेस्क। Chanakya niti: आचार्य चाणक्य भारत ही नहीं दुनिया के श्रेष्ठ विद्वान में से एक माने जाते हैं और इन्हें समाज शास्त्र अर्थशास्त्र, राजनीति एवं कूटनीति का परम ज्ञाता माना जाता है। प्राचीन काल में चाणक्य द्वारा बताई गई नितियां आज भी समाज के लिए उतनी ही उपयोगी है जितनी उस समय में थी।

आज भी उनकी शिक्षाएं लोगों को जीवन में सफल बनाने और प्रेरित करने का काम करती है।

आचार्य चाणक्य की नीति शास्त्र की बताई गई कई बातें कटु जरुर लगती है, पर वह मनुष्य को जीवन की सच्चाई से अवगत कराती है। आज भी अगर कोई व्यक्ति इनकी बताई गई बातों का ध्यान रखे तो वह अनचाही समस्याओं से न सिर्फ बच सकता है, बल्कि एक सफल और संतुष्ट जीवन भी व्यतीत कर सकता है। इसी कड़ी में आचार्य चाणक्य ने अपने नीति शास्त्र में बताया है कि हमें कुछ खास तरह के लोगों से दूर ही रहना चाहिए।

1. Chanakya niti: पाप हो जिसकी नजर में

आचार्य चाणक्‍य अपने नीति शास्त्र में यह बताते हैं कि मनुष्य को ऐसे व्‍यक्ति भी व्यक्ति से मित्रता नहीं करनी चाहिए जिसकी नजर में पाप हो। ऐसी व्‍यक्ति के साथ मित्रता आपको कभी और कहीं भी मुश्किल में डाल देती है। 

2. बुरी आदत वाले व्यक्ति से रहें दूर 

आचार्य चाणक्य के अनुसार दुष्ट व्यक्ति से हमेशा दूर रहना चाहिए। और चाणक्य की नीति के मुताबिक ऐसा व्‍यक्ति जो बुरी आदतों से घिरा हो उसके साथ दोस्ती कभी भी हित में नहीं होता। आपके जीवन को भी उसकी खराब आदतें प्रभावित कर देती है। अपनी आदत के मुताबिक दुष्ट व्यक्ति आपके साथ भी कभी की दुष्टता कर सकता है और आप कभी भी मुश्किल में पड़ सकते हैं।

3. गलत जगह रहने वाले लोगों से न करें दोस्ती

आचार्य चाणक्य अपने नीति शास्त्र में बताते हैं कि हमें ऐसे किसी भी व्यक्ति से दोस्ती नहीं करनी चाहिए जो बुरे यानी गलत जगह पर रहता है। गलत यानी बुरे स्थान पर रहने वाला व्यक्ति लंबे समय तक खुद को उस जगह की बुराइयों से दूर नहीं रख सकता। ऐसे में ऐसे व्यक्ति के साथ मित्रता आपके जीवन पर भी बुरा प्रभाव डाल देते है। आचार्य चाणक्य आगे कहते हैं कि अच्छे स्थान पर अच्छे लोगों के बीच रहने वाले व्यक्ति के साथ ही दोस्ती भी करें।

4. बड़ों के साथ जो करता हो बुरा व्यवहार

आचार्य चाणक्य अपने नीति शास्त्र में आगे यह कहते हैं कि ऐसे व्यक्ति को कभी भी अपना दोस्त नहीं बनाना चाहिए जिनका स्वभाव अच्छा न हो। नीति शास्त्र में आचार्य चाणक्य यह कहते हैं जो व्यक्ति अपने माता-पिता का सम्मान, पत्नी और बच्चों की इज्जत और बड़े के साथ अच्छा व्यवहार न करता हो उसके साथ कभी भी मित्रता नहीं करनी चाहिए।

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वहीं आचार्य चाणक्य आगे कहते हैं कि जो इंसान अपने जन्म देने वाले माता-पिता का सम्मान तक नहीं कर सकता, वह किसी और के साथ कैसे दोस्ती और मित्रता को निभा सकता है।

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