Income Tax : हाल के महीनों में भारत में टैक्स भरने वाले यानि टैक्सपेयर्स (taxpayers) को जारी किए गए इनकम टैक्स नोटिसों की संख्या में काफी बढ़ोतरी देखी गई है। ऐसे में अगर आपके पास भी आयकर विभाग (Income Tax department) का कोई नोटिस आया है, तो यहाँ जानिए किन संभावित वजहों से यह नोटिस आया होगा और सबसे महत्वपूर्ण बात, उसका सही तरीके से जवाब कैसे देना है।
हाल के महीनों में भारत में टैक्सपेयर्स (taxpayers) को जारी किए गए इनकम टैक्स नोटिसों (Income Tax notices) की संख्या में सचमुच भारी वृद्धि हुई है। ये नोटिस, जो अक्सर रिटर्न दाखिल करने में गलतियों (faulty returns) या टैक्स की अतिरिक्त मांगों (additional tax demands) से संबंधित होते हैं, व्यक्तिगत टैक्सपेयर्स के बीच चिंता और उलझन पैदा कर सकते हैं। नोटिसों की इस संख्या बढ़ने का मुख्य कारण यह है कि इनकम टैक्स विभाग (income tax department) आजकल टैक्स नियमों के पालन (compliance) पर ज़्यादा ध्यान दे रहा है और वित्तीय लेन-देन में किसी भी तरह की गड़बड़ी या विसंगति (discrepancy) को पहचानने के लिए अपनी तकनीकों को बेहतर बना रहा है। एक नोटिस मिलने के पीछे कई संभावित वजहें हो सकती हैं।
गलत इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) दाखिल करना:
इनकम टैक्स नोटिस मिलने का सबसे आम कारण यह हो सकता है कि आपने अपनी आय के हिसाब से गलत टैक्स-रिटर्न फॉर्म (ITR form) चुन लिया हो। व्यक्तियों के लिए चार मुख्य ITR फॉर्म हैं: ITR 1, ITR 2, ITR 3, और ITR 4। कई टैक्सपेयर्स, खासकर जो पहली बार पूंजीगत लाभ (capital gains) या फ्यूचर एवं ऑप्शन्स (F&O) ट्रेडिंग से आय कमा रहे हैं, गलती से ITR 2 या ITR 3 की जगह ITR 1 या ITR 4 का इस्तेमाल कर लेते हैं। इससे ऐसी आय का सही खुलासा नहीं हो पाता है, जिसके परिणामस्वरूप आपको दोषपूर्ण रिटर्न नोटिस (defective-return notice) मिल सकता है।
फॉर्म 26AS (Form 26AS) से आय का मेल न खाना:
हाल ही में, जून 2024 में, कई टैक्सपेयर्स (taxpayers) जिन्होंने फॉर्म 26AS (Form 26AS) में दिए गए डेटा का उपयोग करके अपना इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल किया था, उन्हें आय में बेमेल (income mismatch) के कारण नोटिस मिले। ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि कुछ टैक्सपेयर्स ने फॉर्म 26AS में दिखाए गए विवरणों को अपनी वास्तविक आय से ठीक से मिलाया नहीं। उस समय फॉर्म 26AS में वित्त वर्ष 24 की अंतिम तिमाही (जनवरी से मार्च) की आय शायद पूरी तरह से शामिल नहीं थी। इस चूक के कारण आय की कम रिपोर्टिंग (underreporting) हुई और परिणामस्वरूप टैक्स डिमांड नोटिस (demand notice) जारी किए गए।
नॉन-टैक्सेबल गिफ्ट (Non-Taxable Gifts):
कानून के अनुसार, कुछ निर्दिष्ट रिश्तेदारों से प्राप्त गिफ्ट इनकम टैक्स (Income tax) से पूरी तरह मुक्त (exempt) होते हैं। वर्तमान में, इनकम टैक्स रिटर्न भरते समय इन नॉन-टैक्सेबल गिफ्ट (non-taxable gifts) को घोषित करने के लिए फॉर्म में कोई विशेष कॉलम नहीं है। फिर भी, कुछ व्यक्तियों को ऐसे उपहारों पर टैक्स का भुगतान न करने के लिए डिमांड नोटिस (notice) प्राप्त हुए हैं। यह रिपोर्टिंग प्रक्रिया में एक कमी (gap) को उजागर करता है, जिस पर शायद विभाग ध्यान दे रहा है।
रिवाइज्ड रिटर्न प्रोसेस्ड न होना:
कुछ टैक्सपेयर्स (taxpayers) जिन्होंने अपनी मूल फाइलिंग (original filing) में गलतियों की पहचान करने के बाद संशोधित रिटर्न (revised return) दाखिल किया था, उन्हें भी अपने मूल रिटर्न के आधार पर नोटिस प्राप्त हुए हैं। ये नोटिस अक्सर इसलिए जनरेट होते हैं क्योंकि संशोधित रिटर्न अभी तक पूरी तरह से प्रोसेस्ड (processed) नहीं हुआ है, या हो सकता है कि स्वचालित जांच के लिए टैक्सपेयर द्वारा कुछ और जानकारी या सत्यापन (verification) की आवश्यकता हो।
इनकम टैक्स नोटिस का जवाब कैसे दें? जानिए ज़रूरी बातें:
अगर आपको इनकम टैक्स नोटिस मिला है, तो घबराएं नहीं। इन चरणों का पालन करें:
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नोटिस की प्रामाणिकता की पुष्टि करें:
सबसे पहले, यह सुनिश्चित करें कि नोटिस असली है या नहीं। इनकम टैक्स विभाग (Income tax department) के ई-फाइलिंग पोर्टल (e-filing portal) पर लॉग इन करें और ‘पेंडिंग एक्शन’ (Pending Action) टैब के अंतर्गत नोटिस की प्रामाणिकता की पुष्टि करें। यह कदम खासकर ज़रूरी है क्योंकि आजकल फ़िशिंग (phishing) घोटाले बहुत आम हैं, खासकर टैक्स रिफंड (tax refund) से जुड़े। -
नोटिस के प्रकार को समझें:
इनकम टैक्स अधिनियम (Income Tax Act) की अलग-अलग धाराओं (sections) के तहत नोटिस जारी किए जाते हैं, और हर धारा के लिए एक विशिष्ट प्रतिक्रिया की ज़रूरत होती है। उदाहरण के लिए, धारा 139(9) दोषपूर्ण रिटर्न (defective return) से संबंधित है, जबकि धारा 143(1) रिटर्न प्रोसेसिंग में हुई सामान्य त्रुटियों (processing errors) से संबंधित है। नोटिस के प्रकार की पहचान करने से आपको पता चलेगा कि आपको क्या ज़रूरी कार्रवाई करनी है। -
समय पर प्रतिक्रिया दर्ज करें:
कर संबंधी हर नोटिस की एक निश्चित समय-सीमा (deadline) होती है, जिसका पालन करना बेहद ज़रूरी है। उदाहरण के लिए, दोषपूर्ण रिटर्न नोटिस के लिए आमतौर पर सुधार करने के लिए 15 दिन का समय मिलता है, जबकि डिमांड नोटिस (demand notice) के लिए 30 दिन का समय दिया जाता है। दंड (penalty), ब्याज (interest), या कानूनी कार्रवाई (legal action) से बचने के लिए इन समय-सीमाओं का पालन करना महत्वपूर्ण है। समय पर जवाब देना यह दिखाता है कि आप नियमों का पालन कर रहे हैं और कर अधिकारियों के साथ सहयोग करने को तैयार हैं। -
संशोधित रिटर्न दाखिल करके त्रुटियों को सुधारें:
अगर किसी नोटिस में आपके रिटर्न में गलतियों या कमियों (errors or omissions) को उजागर किया गया है, तो संशोधित रिटर्न (revised return) दाखिल करके या विभाग द्वारा मांगी गई आवश्यक जानकारी प्रदान करके उन्हें सुधारें। उदाहरण के लिए, धारा 139(9) के तहत जारी किए गए दोषपूर्ण रिटर्न (notice) के नोटिस का जवाब देने के लिए, आप त्रुटियों को ठीक करके और निर्धारित 15-दिन की अवधि के भीतर अपना रिटर्न फिर से (re-file) दाखिल कर सकते हैं। -
यदि आवश्यक हो तो अतिरिक्त टैक्स का भुगतान करें:
अगर कर नोटिस में कम रिपोर्ट की गई आय या विसंगतियों (discrepancies) के कारण अतिरिक्त टैक्स की मांग (additional tax demand) की गई है, तो तुरंत सही राशि की गणना करें और ब्याज सहित उसका भुगतान करें। ध्यान दें, ऐसे मामलों में हमेशा संशोधित रिटर्न दाखिल करने की आवश्यकता नहीं होती है। आप सीधे ई-फाइलिंग पोर्टल (e-filing portal) के डैशबोर्ड पर ‘पेंडिंग कार्रवाई’ (Pending Action) टैब के माध्यम से इस डिमांड नोटिस (notice) का जवाब दे सकते हैं और भुगतान कर सकते हैं।