आध्यत्मिक– कई लोग दुनिया मे ऐसे होते हैं जो अपनी किस्मत को कोसते रहते हैं और अपनी असफलताओं का सारा ठीकरा उसपर फोड़ देते हैं। लेकिन वास्तव में किस्मत किसी की जन्म से बनकर नहीं आती है। व्यक्ति को उसे बनाने के लिए स्वयं ही संघर्ष करना पड़ता है। वही यह चमकती उसी की है जो अंत तक हार नहीं मानता है और अपने भविष्य को बेहतर बनाने के लिए हजारों हार मिलने के बाद भी संघर्ष करता रहता है।
कहते हैं जीवन मे मौके सभी को मिलते हैं। लेकिन उस मौके का फायदा उठाकर जो अपनी किस्मत खुद लिखता है। इस संसार मे पहचान उसी को मिलती है। किस्मत ठीक आपकी दैनिक दिनचर्या की तरह ही होती है। जैसे आप भोजन तक तक नहीं खा सकते जब तक आप स्वयं भोजन खाने के लिए आगे नहीं आते। ठीक उसी प्रकार आपकी किस्मत तब तक नहीं चमक सकती जब तक आप उसे चमकाने हेतु अथक परिश्रम नहीं करते हैं।
दुनिया मे कई लोग हमारे आस पास ऐसे होते हैं। जो दूसरों की सफलता का सम्पूर्ण श्रेय उनकी अच्छी किस्मत को देते हैं। लेकिन किस्मत सच मे किसी की अच्छी नहीं होती है। व्यक्ति की सफलता के पीछे उसका संघर्ष हमेशा छुपा रहता है। वही जो व्यक्ति मौन होकर अपने संघर्ष के प्रति समर्पित होता है उसकी किस्मत स्वतः ही हीरे की भांति चमक उठती है।