Indian Politics Asaduddin Owaisi: वीर सावरकर पर असदुद्दीन ओवैसी के बयान से राजनीतिक भूचाल: रणजीत सावरकर की तीखी प्रतिक्रिया

Published On: March 16, 2025
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Indian Politics: Asaduddin Owaisi
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Indian Politics Asaduddin Owaisi: हाल ही में, एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी द्वारा स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर पर दिए गए बयान ने भारतीय राजनीति में हलचल मचा दी है। इस बयान के बाद सावरकर के पोते रणजीत सावरकर सहित कई प्रमुख नेताओं ने कड़ी प्रतिक्रियाएँ दी हैं। यह विवाद न केवल सावरकर के समर्थकों को नाराज कर रहा है, बल्कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) समेत अन्य राजनीतिक दलों में भी आक्रोश का कारण बना है।

ओवैसी का बयान और विवाद की शुरुआत

ओवैसी ने हाल ही में एक बयान में कहा कि इतिहास को तोड़-मरोड़कर पेश किया जा रहा है, और यदि ऐसा ही चलता रहा, तो एक दिन महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता के दर्जे से हटाकर सावरकर को यह दर्जा दे दिया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि न्यायाधीश जीवन लाल कपूर की जांच में सावरकर को गांधीजी की हत्या में शामिल पाया गया था।

रणजीत सावरकर की प्रतिक्रिया

इस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए वीर सावरकर के पोते रणजीत सावरकर ने कहा कि भारत जैसे देश में एक राष्ट्रपिता नहीं हो सकता, हजारों ऐसे हैं जिन्हें भुला दिया गया है। उन्होंने यह भी कहा कि महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता मानने से वे सहमत नहीं हैं।

बीजेपी की प्रतिक्रिया

बीजेपी नेता सुधांशु त्रिवेदी ने ओवैसी के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि ओवैसी जैसे लोग, जो यह दावा करते हैं कि उन्होंने 800 साल तक इस देश पर हुकूमत की, स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास पर टिप्पणी करें तो यह हास्यास्पद है। त्रिवेदी ने सावरकर की जेल में कठिन परिस्थितियों का उल्लेख करते हुए कहा कि उन्हें कोल्हू में बैल की जगह जोता गया था, जबकि अन्य नेताओं को जेल में बैठकर किताब लिखने का अवसर मिला था।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का बयान

इस विवाद के बीच, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि सावरकर के बारे में बार-बार यह झूठ फैलाया गया कि उन्होंने ब्रिटिश सरकार के समक्ष दया याचिका दायर कर जेल से खुद की रिहाई मांगी थी, जबकि सच यह है कि महात्मा गांधी ने ही उन्हें दया याचिका दायर करने के लिए कहा था। उन्होंने सावरकर को भारत का पहला सैन्य रणनीतिकार बताया।

वीर सावरकर पर ओवैसी के बयान ने राजनीतिक गलियारों में तीखी प्रतिक्रियाएँ उत्पन्न की हैं। सावरकर के समर्थकों और बीजेपी नेताओं ने इस पर कड़ी आपत्ति जताई है। यह विवाद स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास और राष्ट्रपिता की अवधारणा पर एक नई बहस को जन्म दे रहा है।

  1. असदुद्दीन ओवैसी ने वीर सावरकर के बारे में क्या कहा?

    • ओवैसी ने कहा कि इतिहास को तोड़-मरोड़कर पेश किया जा रहा है, और यदि ऐसा ही चलता रहा, तो एक दिन महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता के दर्जे से हटाकर सावरकर को यह दर्जा दे दिया जाएगा।
  2. रणजीत सावरकर ने ओवैसी के बयान पर क्या प्रतिक्रिया दी?

    • रणजीत सावरकर ने कहा कि भारत जैसे देश में एक राष्ट्रपिता नहीं हो सकता, हजारों ऐसे हैं जिन्हें भुला दिया गया है, और वे महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता मानने से सहमत नहीं हैं।
    • बीजेपी नेता सुधांशु त्रिवेदी ने ओवैसी के बयान को हास्यास्पद बताते हुए कहा कि सावरकर की जेल में कठिन परिस्थितियों की तुलना अन्य नेताओं से नहीं की जा सकती।
  3. राजनाथ सिंह ने सावरकर के बारे में क्या कहा?

    • राजनाथ सिंह ने कहा कि सावरकर ने महात्मा गांधी के कहने पर दया याचिका दायर की थी और उन्हें भारत का पहला सैन्य रणनीतिकार बताया।
  4. यह विवाद क्यों महत्वपूर्ण है?

    • यह विवाद स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास, राष्ट्रपिता की अवधारणा और वर्तमान राजनीतिक ध्रुवीकरण को समझने के लिए महत्वपूर्ण है।

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