UP के प्राचीन मंदिर और आश्रम बनेंगे नए ग्लोबल डेस्टिनेशन, जानिए पूरा मास्टरप्लान और चौंकाने वाले नाम

Published On: July 6, 2025
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UP के प्राचीन मंदिर और आश्रम बनेंगे नए ग्लोबल डेस्टिनेशन, जानिए पूरा मास्टरप्लान और चौंकाने वाले नाम

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UP : उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) की योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) के नेतृत्व वाली सरकार, राज्य की समृद्ध धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत (religious and cultural heritage) को सहेजने और उसे दुनिया के सामने प्रस्तुत करने के लिए एक अभूतपूर्व कदम उठा रही है। सरकार ने मंदिरों के बड़े पैमाने पर जीर्णोद्धार (large-scale renovation of temples) और धार्मिक पर्यटन विकास (religious tourism development) के लिए एक महत्वाकांक्षी योजना का अनावरण किया है। शनिवार को जारी एक आधिकारिक बयान के अनुसार, यह योजना पूर्वांचल (Purvanchal) यानी पूर्वी उत्तर प्रदेश के धार्मिक और सांस्कृतिक स्थलों को नया जीवन देगी और उन्हें वैश्विक पर्यटन मानचित्र (global tourism map) पर स्थापित करेगी। इस योजना से न केवल धार्मिक आस्थाओं को बल मिलेगा, बल्कि क्षेत्र के आर्थिक विकास को भी गति मिलेगी।

पूर्वांचल को मिलेगी नई पहचान: प्राचीन स्थलों का होगा कायाकल्प!

यह महत्वपूर्ण योजना बलिया (Ballia) के भृगु ऋषि आश्रम (Bhrigu Rishi Ashram) और आजमगढ़ (Azamgarh) के दुर्वासा ऋषि आश्रम (Durvasa Rishi Ashram) जैसे प्राचीन तपोस्थलों के साथ-साथ कई अन्य प्रमुख मंदिरों के कायाकल्प पर केंद्रित है। इस विस्तृत कार्ययोजना के तहत, पर्यटन विभाग यह सुनिश्चित करेगा कि इन पवित्र स्थानों को उनके ऐतिहासिक महत्व के अनुरूप विकसित किया जाए। प्रस्तावित विकास कार्यों में शामिल हैं:

  • बलिया में भृगु आश्रम स्थित चित्रगुप्त मंदिर (Chitragupta Temple) का सौंदर्यीकरण (beautification), जिससे इसका आध्यात्मिक और ऐतिहासिक महत्व और निखरेगा।
  • तेंदुआ पट्टी फरसातार मौजा होलपुर में हनुमान मंदिर परिसर (Hanuman Temple complex) का पर्यटन विकास, ताकि श्रद्धालुओं को बेहतर सुविधाएं मिल सकें।
  • बसंतपुर गांव में उदासीन मठ (Udasin Math) का विकास, जो एक महत्वपूर्ण आध्यात्मिक केंद्र है।
  • आजमगढ़ के महाराजगंज में भैरो बाबा स्थल (Bhairon Baba site) का पर्यटन विकास, जो स्थानीय आस्था का केंद्र है।
  • फूलपुर पवई में दुर्वासा ऋषि आश्रम (Durvasa Rishi Ashram) का पुनर्निर्माण और विकास, जिससे इस प्राचीन तपोभूमि को वह पहचान मिल सके जिसकी यह हकदार है।
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इसके अतिरिक्त, मऊ जिले में श्री वीरा बाबा ब्रह्म स्थान (Shri Veera Baba Brahma Sthan) का पर्यटन विकास, आजमगढ़ के मिश्रापुर में राम जानकी मंदिर (Ram Janki Temple) का जीर्णोद्धार और कन्नौज के सदर में फूलमती देवी मंदिर (Phoolmati Devi Temple) का सौंदर्यीकरण भी इस योजना का हिस्सा है। इतना ही नहीं, आजमगढ़ जिले के धन्नीपुर, सिंगपुर और बांसगांव में दिवंगत संत परमहंस बाबा (late Sant Paramhans Baba) के पवित्र स्थलों का भी पर्यटन विकास किया जाएगा, जिससे इन महत्वपूर्ण आध्यात्मिक स्थलों को नई ऊर्जा मिलेगी।

धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने की सरकार की प्रतिबद्धता

बयान के अनुसार, सरकार धार्मिक पर्यटन (Religious Tourism) को बढ़ावा देने के लिए निरंतर प्रयासरत (continuously striving) है। अयोध्या (Ayodhya)काशी (Kashi), और मथुरा (Mathura) जैसे प्रमुख धार्मिक केंद्रों के अलावा, सरकार उत्तर प्रदेश के अन्य प्राचीन मंदिरों और तीर्थ स्थलों को भी वैश्विक मानचित्र पर लाने के लिए लगातार प्रयासरत है। इस योजना के माध्यम से, राज्य न केवल अपनी धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करेगा, बल्कि इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों के लिए एक प्रमुख गंतव्य के रूप में भी स्थापित करेगा। यह पहल ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की भावना को भी बल देती है।


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